End for Virat and Rohit? जानिए सच्चाई!

NCI

Cricket

 वर्तमान क्रिकेट जगत में विराट कोहली और रोहित शर्मा जैसे खिलाड़ियों की स्थिति पर गंभीर चर्चा शुरू हो गई है। हालिया प्रदर्शन और उनके करियर के उतार-चढ़ाव को देखकर यह सवाल उठता है कि क्या अब इन खिलाड़ियों को रिटायरमेंट के बारे में सोचना चाहिए। रोहित शर्मा, जो कभी अपनी बेहतरीन बल्लेबाजी के लिए प्रसिद्ध थे, अब लगातार खराब प्रदर्शन कर रहे हैं। पिछले कुछ टेस्ट मैचों में उनकी बल्लेबाजी औसत 10 रन से भी नीचे रही है। यह उनके करियर के अंतिम दौर की ओर इशारा करता है। वहीं, विराट कोहली की बात करें तो वह भी अपने चरम पर नहीं हैं। उनके प्रदर्शन में भी गिरावट देखने को मिली है, जो किसी भी खिलाड़ी के करियर के स्वाभाविक चरण का हिस्सा है।

रोहित शर्मा का टेस्ट क्रिकेट में खराब प्रदर्शन यह सवाल उठाता है कि क्या उन्हें अब इस फॉर्मेट से विदाई ले लेनी चाहिए। टेस्ट क्रिकेट, जो तकनीकी और मानसिक धैर्य की परीक्षा लेता है, अब रोहित के लिए चुनौती बन गया है। विराट कोहली का मामला थोड़ा अलग है। वह अब भी वनडे और टी20 में एक महत्वपूर्ण खिलाड़ी हो सकते हैं, लेकिन टेस्ट क्रिकेट में उनका औसत गिरा है, और यह सोचने का समय आ गया है कि क्या उन्हें भी इस प्रारूप को छोड़ने पर विचार करना चाहिए।

हालांकि, यह कहना आसान है लेकिन फैसला लेना बहुत कठिन। क्रिकेट खिलाड़ियों के रिटायरमेंट पर विचार करते समय, यह समझना जरूरी है कि उनके योगदान को कैसे सम्मानजनक विदाई दी जाए। बीसीसीआई का इतिहास बताता है कि बड़े खिलाड़ियों को अक्सर उनके करियर के अंतिम समय में सम्मानजनक विदाई नहीं दी जाती। अनिल कुंबले, वीरेंद्र सहवाग और युवराज सिंह जैसे दिग्गजों के साथ ऐसा हुआ है। विराट कोहली और रोहित शर्मा जैसे खिलाड़ियों के मामले में, यह सुनिश्चित करना चाहिए कि उन्हें उचित सम्मान के साथ क्रिकेट से विदा किया जाए।

युवा खिलाड़ियों के लिए यह एक बड़ा अवसर हो सकता है। शुभमन गिल, यशस्वी जैसवाल, और इशान किशन जैसे खिलाड़ी अपने प्रदर्शन से प्रभावित कर रहे हैं। यह समय है कि बीसीसीआई उन्हें अधिक मौके दे। एक युवा और तकनीकी रूप से मजबूत टीम भारत के क्रिकेट भविष्य को सुनिश्चित कर सकती है।

हालांकि, यह भी ध्यान रखना चाहिए कि विराट और रोहित जैसे खिलाड़ी अब केवल खिलाड़ी नहीं रहे, वे ब्रांड बन चुके हैं। उनके रिटायर होने से ब्रांड की वैल्यू भी प्रभावित हो सकती है। लेकिन क्रिकेट का उद्देश्य टीम का हित है, और व्यक्तिगत हितों को पीछे रखना जरूरी है। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ हालिया सीरीज में टीम इंडिया के प्रदर्शन ने यह साफ कर दिया है कि अब टीम को नई दिशा में बढ़ने की जरूरत है।

टीम इंडिया के लिए अब भविष्य की रणनीति बनाना जरूरी है। विराट और रोहित को यह समझना चाहिए कि उन्होंने देश के लिए जो योगदान दिया है, वह अमूल्य है, लेकिन हर खिलाड़ी के करियर का एक समय आता है जब उसे निर्णय लेना पड़ता है। फैंस के लिए यह भावनात्मक होगा, लेकिन खेल भावना और टीम के भविष्य के लिए यह जरूरी है।

यह निर्णय केवल व्यक्तिगत नहीं, बल्कि भारतीय क्रिकेट के भविष्य को निर्धारित करने वाला होगा। अब समय आ गया है कि नई प्रतिभाओं को मौका दिया जाए और भारतीय क्रिकेट को नई ऊंचाइयों पर ले जाया जाए।

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